हौज़ा न्यूज़ एजेंसी के अनुसार , हिज़्बुल्लाह के संसद सदस्य मोहम्मद राद ने कहा है कि लेबनान की आज़ादी और स्वायत्तता को बनाए रखने के लिए बाहरी ताकतों पर निर्भरता महज एक धोखा है।
राद ने नागरिक सुरक्षा के शहीदों की याद में आयोजित एक कार्यक्रम में कहा कि ज़ायोनी दुश्मन ने गाजा और लेबनान में सबसे भयानक नरसंहार किया, जिसमें हत्या, तबाही, अकाल और अस्पतालों, आवासीय इमारतों और घनी आबादी वाले इलाकों को निशाना बनाया।
उन्होंने आगे कहा कि इज़राइली सेना ने लेबनान में तनाव कम करने के समझौते के बाद से ज़मीनी, हवाई और समुद्री स्तर पर 4 हज़ार से ज़्यादा उल्लंघन किए हैं, और यह आक्रामक रवैया जल्द या बाद में खुद इज़राइली शासन के लिए नकारात्मक नतीजे लाएगा।
मोहम्मद राद ने ज़ोर देकर कहा कि आज़ादी और स्वायत्तता हर देश के लिए बुनियादी तत्व हैं, जो जनता की इच्छाशक्ति, जागरूकता, विश्वास और नैतिक मूल्यों का पालन करने से हासिल होता हैं, और प्रतिरोध (मुक़ावमा) इस जागरूकता का सर्वोच्च प्रतीक है।
उन्होंने कहा कि लेबनान में प्रतिरोध एक रक्षात्मक ताकत है जो राष्ट्रीय इच्छाशक्ति से पैदा होती है, किसी की अनुमति या वैधता की मोहताज नहीं है, और यह राज्य और समाज के समर्थन के लिए काम करती है। राद ने स्पष्ट किया कि देश की स्वायत्तता बाहरी ताकतों के हितों के आगे झुकने से नहीं, बल्कि स्वतंत्र राष्ट्रीय इच्छाशक्ति के अनुसार कार्य करने से मिलती है।
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